मइया के मंदिर मैं आ गई घरवालों की चोरी से

मइया के मंदिर मैं आ गई घरवालों की चोरी से
दरवाजे तो बंद पड़े थे निकल के आयी मोरी से

बेंदी तो मेरे घरे रखी थी टीका लाई चोरी से
अपनी माँ को खूब सजाया जय-जय जय-जय हो री से

कुण्डल तो मेरे घरे रखे थे नथनी लाई चोरी से
अपनी माँ को खूब सजाया जय-जय जय-जय हो री से

कंगन तो मेरे घरे रखे थे चूड़ी लाई चोरी से
अपनी माँ को खूब सजाया जय-जय जय-जय हो री से

साड़ी तो मेरे घरे रखी थी लहंगा लाई चोरी से
अपनी माँ को खूब सजाया जय-जय जय-जय हो री से

पायल तो मेरे घरे रखी थी बिछिया लाई चोरी से
अपनी माँ को खूब सजाया जय-जय जय-जय हो री से 

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